मिर्जामुराद पुलिस के खिलाफ एसीपी पिन्ड्रा के समक्ष नागेपुर ग्राम प्रधान ने बयान दर्ज कराया
Varanasi : मिर्जामुराद, 31 मई की रात मेंहदीगंज रिंग रोड पर आराजीलाइन प्रधान संघ के अध्यक्ष व पीएम मोदी बतौर सांसद द्वितीय चरण में गोद लिए आदर्श गाँव नागेपुर के ग्रामप्रधान मुकेश पटेल दो वाहनों के बीच हुए टक्कर के विवाद को सुलझाने गए थे कि मिर्जामुराद थानाध्यक्ष व खजुरी चौकी प्रभारी द्वारा दुर्व्यवहार कर उन्हें हवालात में डालकर उत्पीड़न किया गया था। प्रधान की टाटा सफारी वाहन भी तोड़कर सीज कर मुकेश पटेल का शांतिभंग में चालान कर दिया था।
1 जून को ज़मानत मिलने के बाद शिव प्रसाद गुप्त मंडलीय अस्पताल कबीर चौरा में उपचार और मेडिकल कराया गया। इस मामले को लेकर आराजीलाइन ब्लाक पर ग्राम प्रधानों व समाज सेवियों द्वारा अनिश्चित कालीन धरना-प्रदर्शन भी शुरू किया गया था।
इस बीच दोषी एसओ दीपक कुमार राणावत को मिर्जामुराद से हटाकर फूलपुर थाना का प्रभारी बना भेज दिया गया। एसओ के हटने के बाद प्रधानो द्वारा किए जा रहे बेमियादी धरना प्रदर्शन पर डीसीपी विक्रांत वीर दूसरे दिन धरनास्थल पर पहुंचे थे। ग्राम प्रधानों की मांग पर थानाध्यक्ष के बाद दोषी खजुरी चौकी प्रभारी विवेक त्रिपाठी को भी हटा दिया गया था। बता दें कि दोषी पुलिस के खिलाफ 2 जून को प्रधान संघ का एक प्रतिनिधि मंडल एडीशनल सीपी सुरेंद्र कुमार सिंह और केन्द्रीय मंत्री अनुप्रिया पटेल से मुलाक़ात कर पत्रक देकर दोषी पुलिसकर्मियों के खिलाफ एफ़आइआर दर्ज करने की माँग रखी थी जिस बावत शनिवार को जाँच अधिकारी एसीपी पिन्ड्रा ने पीड़ित प्रधान मुकेश पटेल का बयान और साक्ष्य सबूत लेकर ठोस कार्रवाई का आश्वासन दिया है। इस दौरान दीपापुर प्रधान संतोष यादव, गजापुर प्रधान रामबाबु पटेल, सामाजिक कार्यकर्ता राजकुमार गुप्ता आदि लोग उपस्थित थे।
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